May 11, 2024
नई दिल्ली। पााकिस्तान से पीओके के लोग पूरी तरह छुटकारा पाना चाहते। यह बातें कोई भारतीय राजनेता नहीं बल्कि वहां के स्थानीय लोग कह रहे हैं। इसके लिए स्थाई निवासी 11 मई यानी आज मुजफ्फराबाद तक मार्च निकाल रहे हैं। वहीं पाकिस्तान की सरकार ने इस आंदोलन को कुचलने के लिए पुख्ता इंतजाम किए हैं।
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रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने दिया था बयान
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह के बाद विदेशमंत्री एस जयशंकर ने पीओके को लेकर बड़ा बयान दिया। एस जयशंकर ने कहा कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के लोग खुद भारत में शामिल होना चाहते हैं। भारतीय राजनेताओं की बातें जयशंकर की बातें बिल्कुल सही हैं। आज पीआके के नागरिक पाकिस्तान से पूरी तरह छुटकारा पाने के लिए बड़ा मार्च निकाल रहें हैं।
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पीआके में भड़क रही आक्रोश की आग
एक तरफ बलूचिस्तान पाकिस्तान के लिए नासूर बनता जा रहा है, वहीं पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर पीओके में भी आजादी की मांग उठने लगी है। वहां पाकिस्तान से लेकर रहेंगे आजादी के नारे जगह-जगह गूंज रहे हैं। आज पीओके में मुजफ्फराबाद तक बड़ा मार्च निकाला जा रहा है। इसको लेकर पूरे पाकिस्तान में टेंशन है।
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आंदोलन को कुचलने के लिए पीओके सरकार ने बिछाया जाल
आंदोलन को कुचलने के लिए पीओके सरकार ने नौ मई से ही सभी स्कूल, कॉलेजों और अन्य शैक्षणिक संस्थानों को बंद करने की घोषणा कर दी थी। वहीं फेडरल कैबिनेट ने पीओके में फ्रंटियर कंस्टबुलरी यानी एफसी जवानों की तैनाती की है। ये चीनी नागरिकों के साथ पावर हाउसों की सुरक्षा का जिम्मा संभालेंगे। सूत्रों की मानें तो एफसी की तैनाती शुरूआती तौर पर तीन महीनों के लिए रहेगी, जो कि क्षेत्र में कानून और व्यवस्था को बरकरार रखने में मदद करेगी। बता दें कि स्थानीय निवासी पाकिस्तान की सरकार के साथ चीन की हरकतों से भी परेशान हैं। चीन पर आरोप है कि वह वहां के स्थानीय निवासियों पर लगातार कब्जा करता जा रहा है। लोग जमीन और घर से बेदखल हो रहे हैं। आज मीरपुर, मुजफ्फराबाद, ददयाल, गिलगित-बालटिस्तान, तत्ता पानी और सुधनोती समेत पीओके के कई हिस्सों में हिंसक प्रदर्शन शुरू हो गए हैं। पीओके के लोगों का कहना है कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर और गिलगित बाल्टिस्तान में लोगों के पास खाना नहीं है। आटा-दाल नहीं है और बिजली कटौती चरम पर है। चारों तरफ भुखमरी फैली है और लोग लोग मर रहे हैं। वहीं भारत के सेव शारदा संगठन ने भी पीओके के लोगों की मांगों का समर्थन किया है। पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर की यूनाइटेड कश्मीर पीपुल्स नेशनल पार्टी ने सरकार को सख्त चेतावनी दी है। संगठन ने कहा कि अगर शांतिपूर्ण प्रदर्शनकारियों के खिलाफ किसी भी बल का इस्तेमाल किया गया तो इसके गंभीर परिणाम होंगे। बता दें कि पीओके की सरकार ने बड़ी संख्या में फ्रंटियर कोर सुरक्षा बलों को तैनात किया है। साथ ही, रेंजर्स और क्विक रिस्पांस फोर्स को भी यहां भेजा है। जिससे यहां के लोग उग्र हो गए हैं। ददयाल इलाके में तो भीड़ ने असिस्टेंट कमिश्नर के दफ्तर पर धावा बोल दिया। वहां मौजूद पुलिस अधिकारियों को जमकर पीटा। बता दें कि असिस्टेंट कमिश्नर ददयाल मीरपुर ने प्रदर्शनकारियों पर आंसू गैस और लाठीचार्ज का आदेश दिया था, जिससे लोग भड़क गए। वहीं ददयाल के व्यापारिक संघों ने व्यापार और परिवहन को पूरी तरह बंद करने का आह्वान भी कर दिया है। पीओके स्थित ज्वॉइंट अवामी एक्शन कमेटी ने बताया कि यहां धारा 144 लागू है। यहां की अवाम सस्ता आटा और सस्ती बिजली चाहती है। जो गरीबों का हक है। सरकार हमें यह मुहैया नहीं करा रही है। आवाज उठाने वाले लोगों की धरपकड़ हो रही है।
Rajneesh kumar tiwari