जनप्रवाद ब्यूरो, नई दिल्ली। वैज्ञानिकों ने ब्रह्मांड की अब तक की सबसे चमकीली वस्तु खोज ली है। यह सूर्य से 500 ट्रिलियन गुना ज्यादा चमकदार है। यह इतना विशाल है कि इसके ब्लैक होल में 17 अरब सूरज समा जाएं। यूरोपीय दक्षिणी वेधशाला ने अपने सबसे बड़े टेलीस्कोप का उपयोग करते हुए ब्रह्मांड की अब तक की सबसे बड़ी खोज की है। खगोलविदों ने एक क्वासर की पहचान की है। जिसे अपनी तरह का सबसे चमकीला और अब तक देखी गई सबसे चमकदार वस्तु बताया जा रहा है। यह क्वेसार हमारे सूर्य से 500 ट्रिलियन गुना अधिक चमकीला है। वहीं यूरोपीय दक्षिणी वेधशाला से अंतरिक्ष में अध्ययन करने गए वैज्ञानिकों ने भी इसे अपनी तरह का सबसे चमकीला और अब तक देखी गई सबसे चमकदार वस्तु करार दिया है। यह क्वेसार पृथ्वी से इतना दूर है कि उसके प्रकाश को पहुंचने में 12 बिलियन साल लग गए हैं। वैज्ञानिकों के अनुसार क्वेसार बेहद दूर स्थित आकाशगंगाओं के कोर हैं। जिन्हें सुपरमैसिव ब्लैक होल चलाते हैं। नेचर एस्ट्रोनॉमी जर्नल में छपी स्टडी के मुताबिक, जे0529-4351 नामक इस क्वेसार का ब्लैक होल अभूतपूर्व दर से बढ़ रहा है। यह प्रतिदिन एक सूर्य के बराबर पदार्थ को निगल रहा है। इस सुपरमैसिव ब्लैक होल का द्रव्यमान 17 बिलियन सूर्यों के बराबर है। यह अब तक खोजा गया सबसे तेज गति से बढ़ने वाला ब्लैक होल है। बता दें कि आकाशगंगाओं के चमकीले कोर को क्वेसार कहते हैं। इनके केंद्र में सुपरमैसिव ब्लैक होल होते हैं। जैसे-जैसे धूल और गैस ब्लैक होल में गिरती है, वह इलेक्ट्रोमैग्नेटिक रेडिएशन रिलीज करता है। जिससे तेज रोशनी पैदा होती है। यह क्वेसार न सिर्फ चमक के मामले में पिछले सभी रिकार्ड तोड़ रहा है, बल्कि बेहद तेजी से बड़ा भी हो रहा है। स्टडी के लीड आथर और आस्ट्रेलियन नेशनल यूनिवर्सिटी में एस्ट्रोनामर क्रिश्चियन वुल्फ ने इसकी जानकारी दी। उनका कहना है कि हमने अब तक ज्ञात सबसे तेजी से बढ़ने वाले ब्लैक होल की खोज की है। इसका द्रव्यमान 17 बिलियन सूर्यों के बराबर है। यह प्रतिदिन एक सूर्य से थोड़ा अधिक पदार्थ को निगल रहा है। यह ब्रह्मांड में अब तक की ज्ञात सबसे चमकदार वस्तु है। क्रिश्चियन वुल्फ ने कहा कि यह क्वेसार 1980 से ही दिखाई दे रहा है। उस समय बेहद चमकीला होने के कारण इसे गलती से तारा समझ लिया गया था। अब टेलीस्कोप के जरिए इसके क्वेसार होने की पुष्टि हुई है।
Rajneesh kumar tiwari